Operation Sindoor Response : कश्मीर के पहलगाम में आतंकी हमला हो जाने के बाद भारत की प्रतिक्रिया को लेकर रवैया बदल गया है। भारत के द्वारा अब तक इस मुद्दे पर लगातार संयम बरता गया है लेकिन अब चर्चा है कि भारत नई युद्ध नीति पर कार्य कर रहा है। इस युद्ध नीति के तहत आतंकवाद के मुद्दे पर संयम नहीं बरता जाएगा बल्कि आतंकवाद और पाकिस्तान को आक्रामक जवाब दिया जाएगा। भारत यह स्पष्ट कर चुका है कि भविष्य में आतंकी हमला होने पर इसे युद्ध की शुरुआत के तौर पर देखा जाएगा। भारतीय सेना के द्वारा लगातार भविष्य में आने वाली चुनौतियों और खतरों से निपटने को लेकर रणनीति बनाई जा रही है।
CDS की निगरानी में बन रही रणनीति
नए युद्ध सिद्धांत पर भारतीय सेना के द्वारा कार्य को चीफ ऑफ़ डिफेंस स्टाफ के नेतृत्व में किया जा रहा है। नए युद्ध सिद्धांत में आतंकी हमले को देश के खिलाफ युद्ध का ऐलान माना जाएगा। आतंकवाद के खिलाफ 24 घंटे सैन्य ताकत तैयार रहेगी और आक्रामक रणनीति के साथ उनको ठोस जवाब दिया जाएगा। अब संयम की जगह भारतीय सेना आक्रामक कार्रवाई को तरजीह देगी। भविष्य में होने वाले हमले या दुश्मन से खतरे को पहले ही भांपते हुए दुश्मन के खिलाफ कार्रवाई की जाएगी। बताया जा रहा है कि भारतीय सेना के द्वारा एक फ्यूचर वाॅरफेयर एनालिसिस ग्रुप बनाया गया है जो युद्ध में विभिन्न तरह के दक्षता पर कार्य करेगा। इस ग्रुप के द्वारा की जाने वाली सिफारिश के आधार पर सैन्य बलों में किए जाने वाले बदलाव, ऑपरेशन की प्लानिंग तथा ट्रेनिंग सिस्टम पर कार्य किया जाएगा।
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ऑपरेशन सिंदूर से भारतीय सेना ले रही सबक
पहलगाम में आतंकी हमला हो जाने के बाद भारतीय सेना के द्वारा आतंकी ठिकानो को नष्ट करने के लिए ऑपरेशन सिंदूर को अंजाम दिया गया था। ऑपरेशन सिंदूर में भारतीय सेना को विभिन्न तरह के अनुभव प्राप्त हुए। इसी आधार पर कार्य करते हुए नई युद्ध नीति पर कार्य कर रही है। नई युद्ध नीति के तहत दुश्मन को इस तरह जवाब दिया जाएगा जिसका आकलन उसे भी नहीं हो पाए। लगातार आक्रमण के लिए विभिन्न मिसाइल तथा हथियारों का जखीरा बढ़ाने पर कार्य किया जा रहा है। आमने-सामने की लड़ाई के बजाय टेक्नोलॉजी पर जोर दिया जाएगा।
भारतीय CDS अनिल चौहान पहले ही यह स्पष्ट कर चुके हैं कि समय के साथ-साथ अब युद्ध के तरीकों में भी बदलाव हो रहा है। सीमा के पार से होने वाली आतंकी गतिविधियों को जवाब देने के लिए भारत अपने अनुसार तरीके, समय और स्थान का चयन करेगा। आतंकवादियों को शरण देने वाले समर्थकों को इसका जिम्मेदार मानते हुए कार्रवाई की जाएगी। इसी के साथ भारत यह भी स्पष्ट कर चुका है कि लंबे समय से भारत को परमाणु ब्लैकमेल किया गया लेकिन अब भारत ऐसा नहीं सहेगा। आने वाले समय में सेना पूरी तरह से स्वतंत्र होगी। हालांकि परमाणु हथियार को लेकर सेना के द्वारा धैर्य दिखाया जाएगा लेकिन स्थिति के अनुसार सेना अपने कदम बढ़ा सकती है।

PM ने भी दिया स्वेदेशी टेक्नोलॉजी पर जोर
भारतीय प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने एक बार फिर ऑपरेशन सिंदूर की चर्चा करते हुए मेक इन इंडिया की ताकत पर जोर दिया। उन्होंने कहा कि भारत में बनाए गए हथियारों के माध्यम से भारतीय सेना के द्वारा ऑपरेशन सिंदूर में बेहतरीन प्रदर्शन किया गया। स्वदेशी हथियारों के माध्यम से विभिन्न आतंकी ठिकानों को नष्ट करने का कार्य किया गया। जिससे लंबे समय से आतंक को समर्थन कर रहे विभिन्न आकाओ की नींद हराम हो गई है। भारतीय प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने यह बात तमिलनाडु के तूतीकोरिन में कही।
‘भारत में बने हथियार दिखा रहे ताकत’
मोदी ने कहा कि मेक इन इंडिया और मिशन मैन्युफैक्चरिंग पर भारत सरकार के द्वारा जोर दिया जा रहा है। मेक इन इंडिया की ताकत को दुनिया के विभिन्न देशों ने ऑपरेशन सिंदूर के दौरान देखा। आतंक के ठिकानों को स्वदेशी हथियारों के द्वारा मिट्टी में मिलाने का कार्य किया गया। ऑपरेशन सिंदूर के दौरान स्वदेशी हथियारों के कमाल से आतंकवाद को समर्थन करने वाले समर्थकों की नींद उड़ गई है। भारत और पाकिस्तान के बीच तनाव पैदा हो जाने के बाद प्रधानमंत्री मोदी का यह बयान सामने आया है। ऑपरेशन सिंदूर के तहत पाकिस्तान में स्थित आतंकी ठिकानों को भारतीय सेना के द्वारा नष्ट किया गया था।
पहलगाम हमले के बाद ऑपरेशन सिंदूर को दिया था अंजाम
कश्मीर के पहलगाम में 22 अप्रैल को आतंकियों के द्वारा पर्यटकों पर हमला कर दिया गया था। पर्यटकों पर किए गए इस हमले में 26 भारतीय पर्यटक मौत का शिकार हुए थे। इस हमले की जिम्मेदारी TRF के द्वारा ली गई थी। पहलगाम हमले के बाद भारत सरकार के द्वारा पाकिस्तान और आतंकवाद को लेकर कठोर कदम उठाए गए थे। ऑपरेशन सिंदूर के तहत पाकिस्तान में स्थित विभिन्न आतंकी ठिकानों को नष्ट करने का कार्य किया गया था। जिसमें 100 से भी अधिक आतंकी मारे गए थे। इसके बाद भारत और पाकिस्तान में कई दिनों तक युद्ध की स्थिति बनी रही थी। अंत में दोनों देश संघर्ष विराम पर सहमत हुए थे। भारतीय प्रधानमंत्री मोदी के द्वारा इस परिप्रेक्ष्य में यह बयान दिया गया है कि स्वदेश में निर्मित हथियारों के द्वारा ऑपरेशन सिंदूर के दौरान सेना ने आतंकियों के ठिकानों को नष्ट करने का कार्य किया।